भारतीय टीम के पूर्व कोच ने सौरव गांगुली पर लगाए बड़े आरोप, कहा- ‘ वो मतलबी और घमंडी है, उसने विराट को..’

क्रिकेट दुनिया में ऐसे कई खिलाड़ी है, जो भले ही एक टीम के ना हो लेकिन उनके बीच रिश्ता बहुत अच्छा बनता है। दोस्तो सालो साल तक एक साथ खेलने के बाद खिलाड़ियों के बीच एक परिवार वाला माहौल बन जाता है। इसके चलते खिलाड़ी एक दूसरे से मस्ती मजाक भी करते है।

और एक दूसरे को देख कर काफी कुछ चीज़े सीखते भी है। लेकिन अगर किसी गलतफहमी के चलते खिलाड़ियों के बीच दरार आ जाती है। तो उनका रिश्ता आगे के लिए खराब हो जाता है। और ऐसा ही एक रिश्ता ग्रेग चैपल और बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली के बीच का है। जिसके चलते चैपल ने एक बार फिर से चौकाने वाले खुलासे किए है।

चैपल का आरोप ये है, की टीम में पूर्व कप्तान के रहते अपने खेल में किसी भी प्रकार के बदलाव नहीं करना चाहते थे। वो सिर्फ टीम की कमान ही अपने हाथो में लेकर चलना चाहते थे। बता दे, की असल में साल 2005 से 2007 तक भारतीय टीम की कोचिंग चैपल के हाथो में थी। और इस दौर में गांगुली और उनके बीच का रिश्ता अक्सर विवादो के बीच फसता रहता था। टीम के कैप्टन होने के बाद भी ग्रेग चैपल ने सौरव गांगुली को टीम से बाहर होने का रास्ता दिखाया था। ये बात साल 2007 की है।

जब भारतीय टीम वर्क कप के दौरान पहले ही राउंड में बाहर हो गई थी। और इस समय में टीम के कोच चैपल ही थे। बीसीसीआई के अध्यक्ष के बारे में क्रिकेट लाइफ स्‍टोरीज पोडकास्‍ट में बातचीत करते हुए चैपल ने कई बड़े और विवादित खुलासे किए हैं। दोस्तो चैपल ने बातचीत में खुलासा किया, की भारतीय टीम के कोच के लिए उन्हे सौरव गांगुली ने ही टीम में शामिल किया था।

क्योंकि उस वक्त ऑस्ट्रेलिया टीम के कोच की जिम्मेदारी जॉन बुकानन को दी गई थी। इसलिए उन्होंने इस ऑफर के बाद लेकर निर्णय करते हुए सोचा कि यदि अपना देश नहीं तो वह दुनिया की सबसे मजबूत टीम भारत के कोच बनेंगे। लेकिन सबसे ज्यादा चौकाने वाली बात ये थी, की उन्हे जो इस टीम में लाया, उन्हे ही चैपल ने टीम बाहर करने के बारे में कहा।

पॉडकास्ट में चैपल ने आगे कहा, की भारतीय टीम में बतौर कोच बहुत सारी चुनौतियों का सामना करना पड़ा था। क्योंकि उनसे बहुत सी उम्मीद की जाती थी। उन्होंने कहा, की इन मुश्किलों की सबसे बड़ी वजह सौरव गांगुली ही थे। आगे चैपल ने कहा की सौरव गांगुली के कप्‍तान रहने की वजह से काफी मसले थे। क्योंकि व‍ह ज्यादा मेहनत नहीं करना चाहते थे। वह अपने खेल में सुधारने की भी कोशिश नहीं करना चाहते थे।

वह बस टीम के कप्‍तान बने रहना चाहते थे ताकि चीजों को नियंत्रित कर सकें। ग्रेग चैपल ने आगे ये भी कहा, की वह टीम में रहकर आगे चलकर भारतीय टीम में बहुत से बदलाव लाना चाहते थे। उनके हिसाब से एकमात्र राहुल द्रविड़ ही ऐसे खिलाड़ी है, जो टीम को बेहतरीन तरीके से संभाल सकते है। राहुल द्रविड़ के बारे में ग्रेग चैपल ने उनकी काफी तारिक की। उन्होंने कहा, की राहुल द्रविड़ ने भारतीय टीम को न सिर्फ भारत की बल्कि पूरी दुनिया की सबसे मजबूत बनाने में अपना काफी समय दिया है।

लेकिन टीम में हर खिलाड़ी की सोच ऐसी नही थी। जब सौरव गांगुली टीम से ड्रॉप हुए। तो हमारे ऊपर खिलाड़ियों ने काफी ध्यान दिया। और उन्हे इस बात का एहसास हो चुका था, की अगर वो टीम से बाहर हुए, तो कोई भी टीम से बाहर जा सकता है।


इस तरह के बयान ग्रेग चैपल ने यूट्यूब की अपनी वीडियो में दिए। और टीम की कुछ पुरानी बातो को बताया।